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देश में कई ऐसी महिलाएं हैं, जो आर्थिक रूप से सक्षम नहीं होतीं। ऐसे में अपने पति की मृत्यु हो जाने के बाद वह मुश्किलों का सामना करती हैं। खास तौर पर आर्थिक रूप से उनके पास अपने भविष्य के लिए बचत के रूप में कोई राशि नहीं होती। ज्यादातर लोग अपने बच्चों के पालन पोषण में अपनी जमा पूंजी खर्च कर देते हैं। ऐसे में पति की मृत्यु होने पर पत्नी को मुश्किल होना स्वाभाविक है। इसके अलावा कई परिवार ऐसे भी होते हैं, जहां बच्चे अपने अभिभावकों की सुध नहीं लेते। अपने बूढ़े मां बाप को वह समझते हैं।
ऐसे में यदि परिवार के कमाने वाले सदस्य यानी महिला के पति की मृत्यु हो जाती है तो उसके लिए जीवन यापन मुश्किल हो जाता है। ऐसी ही विधवा महिलाओं की दिक्कत समझते हुए उत्तराखंड सरकार उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना चला रही है। इसका मकसद विधवा महिला को आत्मनिर्भर बनाना है, ताकि वह आसानी से अपना जीवन यापन कर सकें। आज हम आपको इसी उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना के बारे में विस्तार से जानकारी देंगे। आइए शुरू करते हैं।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना क्या है?
दोस्तों आपको बता दें कि उत्तराखंड सरकार 40 वर्ष से लेकर 79 वर्ष तक की विधवा महिलाओं को पेंशन प्रदान कर रही है। यह कार्य उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना के अंतर्गत किया जा रहा है। इसके तहत महिलाओं को 1200 रुपए प्रति महीने का अनुदान प्रदान किया जाता है। पेंशन का भुगतान त्रैमासिक आधार पर होता है।
इस राशि से विधवा महिलाएं आर्थिक रूप से स्वावलंबी बनती हैं। आपको बता दें कि पेंशन की राशि में 900 रुपए का भुगतान राज्य सरकार करती है, जबकि बाकी की 300 रुपए की अंश राशि का भुगतान केंद्र सरकार की ओर से किया जाता है।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना विवरण –
योजना का नाम | उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना |
आरम्भ की गई | उत्तराखंड समाज कल्याण विभाग द्वारा |
लाभार्थी | विधवा महिलाएं |
पंजीकरण प्रक्रिया | ऑनलाइन |
उद्देश्य | बेसहारा विधवा महिलाओं को आर्थिक मदद पहुँचाना |
लाभ | 1200रू मासिक सहायता राशि |
श्रेणी | उत्तराखंड सरकारी योजनाएं |
आधिकारिक वेबसाइट | www.ssp.uk.gov.in/ |
विधवा पेंशन योजना का लाभ उठाने के लिए आवेदन करने को पात्रता –
विधवा पेंशन योजना का लाभ उठाने के लिए महिलाओं को कुछ पात्रता रखनी आवश्यक होगी, जो कि इस प्रकार से है-
- लाभार्थी महिला के पति की मृत्यु हो चुकी हो।
- लाभार्थी विधवा महिला की आयु न्यूनतम 18 वर्ष और अधिकतम 60 वर्ष होनी चाहिए।
- एंव लाभार्थी महिला की सभी स्रोतों से मासिक आय ₹4000 से ज्यादा ना हो।
- लाभार्थी महिला के पुत्र/पौत्र की आयु 20 वर्ष से अधिक नहीं होनी चाहिए।
- यदि महिला बीपीएल परिवार से संबंद्ध है और उसका पुत्र या पौत्र 20 वर्ष से अधिक आयु का है तो भी वह पेंशन लेने की हकदार होगी।
यह भी जानें –
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना का लाभ लेने के लिए आवश्यक दस्तावेज –
अब हम आपको उन दस्तावेजों की जानकारी देंगे, जो कि इस योजना का लाभ लेने के लिए फॉर्म के साथ लगाए जाना आवश्यक हैं। यह दस्तावेज इस प्रकार से हैं-
- लाभार्थी महिला के पति की मृत्यु का प्रमाण पत्र।
- लाभार्थी महिला का आय प्रमाण पत्र।
- एंव लाभार्थी महिला का जाति प्रमाण पत्र व लाभार्थी महिला का जन्म तिथि प्रमाण पत्र।
- लाभार्थी महिला के बैंक खाते या पोस्ट ऑफिस के खाते की पासबुक की प्रथम पृष्ठ की प्रतिलिपि।
- लाभार्थी महिला की पासपोर्ट साइज फोटो।
- साथ ही लाभार्थी महिला का वोटर आईडी कार्ड।
- लाभार्थी महिला का आधार कार्ड।
- लाभार्थी महिला या उसके किसी परिजन का मोबाइल नंबर।
यह भी जानें –
योजना का लाभ लेने के लिए ऐसे करें आवेदन –
मित्रों, अब हम आपको बताएंगे कि उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना के तहत लाभ लेने के लिए आवेदन किस प्रकार से किया जा सकता है। दोस्तों, आपको बता दें कि यह आवेदन ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों तरीके से किया जा सकता है।
- ऑफलाइन आवेदन करने के लिए सबसे पहले sspy-uk.gov.in की वेबसाइट पर जाना होगा। यहां होम पेज पर नागरिक सेवा सेक्शन में पेंशन अनुदान योजनाएं के विकल्प पर क्लिक करें। इसमें से विधवा पेंशन योजना के विकल्प को चुनकर उस पर क्लिक करें।
- योजना का पेज खुल जाने के बाद फार्म के लिए यहां क्लिक करें विकल्प पर जाकर क्लिक कर दें। स्क्रीन पर आपके सामने फार्म खुल जाएगा। फार्म को डाउनलोड कर इसका प्रिंट लेकर पूछी गई जानकारी भर दें। निश्चित जगह पर पासपोर्ट साइज फोटो चस्पा कर दें।
- आप चाहें तो यहाँ क्लीक करके डायरेक्ट फॉर्म डाउनलोड कर सकतें हैं।
- फार्म में मांगी गई सभी जानकारी सही सही भरी गई हो वरना फार्म निरस्त हो सकता है। जैसे कि आवेदक का नाम, पति का नाम, स्थाई पता, मोहल्ला/ ग्राम पोस्ट ऑफिस ग्राम पंचायत, न्याय पंचायत, ब्लॉक, तहसील और जनपद का नाम, पति की मृत्यु की तिथि, बीपीएल चयनित परिवार क्रमांक, जन्मतिथि, बैंक खाता संख्या वोटर आईडी संख्या, और आधार संख्या के साथ ही मोबाइल नंबर भी सही सही भरना होगा।
- इसके बाद इस फार्म के साथ सभी आवश्यक दस्तावेज नत्थी करके इसे स्वयं या अपने जन प्रतिनिधि के माध्यम से तहसील में जमा कराया जा सकता है।
- इस तरह आपका फॉर्म जमा हो जाएगा। और आपकी पेंशन मंजूर होने के बाद आपके दिए गए मोबाइल नंबर पर पेंशन स्वीकृत होने का एक एसएमएस आ जाएगा।
यह भी जानें –
योजना का लाभ लेने के लिए आनलाइन आवेदन ऐसे करें?
दोस्तों, अब आपको बताते हैं कि अब योजना के तहत ऑनलाइन आवेदन कैसे कर सकते हैं। सबसे पहले आपको यह बता दें कि यह प्रक्रिया भी कुछ-कुछ ऑफलाइन आवेदन जैसी ही है।
- इसमें सबसे पहले आपको सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना यानी sspy की वेबसाइट sspy-uk.gov.in पर जाना होगा। आप चाहें तो यहाँ क्लीक करके डायरेक्ट जा सकतें हैं।
- यहां होम पेज पर आपको नागरिक सेवा सेक्शन में पेंशन अनुदान योजनाओं के लिए आवेदन पत्र के विकल्प पर क्लिक करना होगा।
- इसमें विधवा पेंशन योजना के विकल्प पर जाकर क्लिक करना होगा। योजना का आवेदन पत्र आपके सामने खुल जाएगा।
- फार्म में सारी जानकारी सही सही भरने, फोटो और अन्य दस्तावेज अपलोड करने के बाद फार्म को एक बार फिर चेक करें कि सभी जानकारी सही सही भरी है या नहीं। -इसके बाद फॉर्म को सबमिट कर दें।
- फॉर्म सबमिट होने के बाद आप की पेंशन मंजूर होने से जुड़ा एक एसएमएस आपके मोबाइल पर आएगा और इसके बाद आपको त्रैमासिक विधवा पेंशन मिलनी शुरू हो जाएगी।
उत्तराखंड राज्य में इस समय 1,69,103 विधवा पेंशनर
दोस्तों, हम आपको बता दें कि उत्तराखंड में इस समय 1,69,103 विधवा पेंशनर हैं, जिनके बीच 122.43 करोड़ के करीब राशि बतौर पेंशन सरकार की ओर से वितरित की जाती है। कुछ नए आवेदन पत्र भी समाज कल्याण विभाग में पहुंचे हैं। इन आवेदन पत्रों को प्रोसेस कर दिया गया है, हालांकि अभी तक इन्हें मंजूर नहीं किया गया है।
पति की मृत्यु के बाद महिलाओं के लिए आर्थिक संबल बनी है विधवा पेंशन योजना –
पति की मृत्यु के पश्चात एकाकी जीवन जी रही महिलाओं के लिए उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना एक बड़ा आर्थिक संबल बनी है। इससे उनके छोटे मोटे खर्चे तो अवश्य रूप से निकल जाते हैं। जैसे दवा आदि का खर्च।उन महिलाओं की खासतौर पर सहायता होती है, जिनके बच्चे हैं और जिनके भरण पोषण के लिए उन्हें दिन रात खटना पड़ता है। जिनके परिवार में कोई कमाने वाला नहीं है या फिर उसकी कमाई परिवार को चलाने के उद्देश्य के लिए नाकाफी साबित होती है।
उत्तराखंड में विधवा पेंशन का त्रैमासिक भुगतान होने की वजह से एक अच्छी राशि महिला के हाथ में आ जाती है। वित्तीय वर्ष की पहली तिमाही किश्त अप्रैल से जून तक की बनती है, जिसका भुगतान जुलाई में होता है। इसी तरह जुलाई, अगस्त और सितंबर की पेंशन राशि का भुगतान अक्टूबर में किया जाता है। अक्टूबर, नवंबर, दिसंबर की पेंशन राशि का भुगतान जनवरी के महीने में किया जाता है।
रिसर्च कहती है कि विधवा पुनर्विवाह हो तो वह बेहतरीन जीवनसाथी साबित होती हैं
ह बात हैरत में डाल सकती है। कुछ समय पहले अमेरिका में विधवा महिलाओं पर हुई एक रिसर्च में सामने आया कि यदि विधवा महिलाओं का पुनर्विवाह होता है तो वह बेहतरीन जीवनसाथी साबित होती हैं। यह महिलाएं काफी वफादार और ईमानदार भी होती हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि, इन महिलाओं की नज़र में रिश्तों की कीमत होती है। ये इस बात को समझती हैं कि रिश्तों में झूठ या धोखे की कतई कोई गुंजाइश नहीं होती।
साथ ही एक विधवा महिला को घर संभालने का भी अनुभव होता है। वह एक जीवनसाथी को चुकी होती हैं, इसलिए दूसरे साथी की यह जी जान से कद्र करती हैं। वह अपने जीवन में इतने दुख झेल चुकी होती हैं कि अधिकांश किसी बात की शिकायत नहीं करतीं। बड़ी से बड़ी मुसीबत में बजाय टूट कर बिखरने के खुद को संभाल कर उस मुसीबत को दूर करने की कोशिश करेगी।
समाज को विधवाओं के प्रति सोच बदलने की जरूरत –
समाज को विधवाओं के प्रति अपनी सोच बदलने की जरूरत है उन्हें अपनी इस मानसिकता से बाहर आना होगा कि विधवा होने में उनका अपना कोई दोष है इस सोच को बदलने में बॉलीवुड भी अहम भूमिका निभा सकता है। कुछ फिल्मों ने यह कार्य किया भी है, जैसे कि कई साल पहले राज कपूर की फिल्म प्रेम रोग आई थी। जिसमें विधवा पुनर्विवाह का समर्थन किया गया था। बाद में विधवा पुनर्विवाह कराया गया था। यह फिल्म अपने गीतों की वजह से भी बहुत सफल हुई।
इसी प्रकार की कई अन्य फिल्में भी हैं, जो कि इस बड़े मसले पर प्रकाश डालती हैं। और पुनर्विवाह के जरिए मसले का प्रभावी उपाय सुझाती हैं। इसी तरह एक सीरियल पुनर्विवाह भी निजी टेलीविजन चैनल पर आ रहा है जो विधवा पुनर्विवाह का सकारात्मक पहलू प्रदर्शित करता है।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना से संबंधित प्रश्न उत्तर
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना क्या हैं?
जिन महिलाओं के पति की मृत्यु हो चुकी है उन विधवा महिलाओं के लिए उत्तराखंड सरकार ने आर्थिक सहायता प्रदान करने के लिए उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना की शुरुआत की है।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना आर्थिक सहायता राशि कितनी हैं?
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना के अंतर्गत प्रदेश सरकार विधवा महिलाओं के लिए 1200 रुपए की आर्थिक सहायता राशि प्रतिमाह प्रदान करेगी।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना कौन देगा?
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना के अंतर्गत विधवा महिलाओं के लिए ₹900 प्रदेश सरकार और ₹300 केंद्र सरकार समाज कल्याण विभाग उत्तराखंडकी मदद से लाभार्थी महिला के बैंक खाते में ट्रांसफर करेगी।
उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना का लाभ किसे मिलेगा?
Uttarakhand Vidhwa Pension Yojana आयु सीमा कितनी निर्धारित की गई हैं?
Uttarakhand Vidhwa Pension Yojana के अंतर्गत 40 से 79 बर्ष की आयु में महिला के विधवा हो जाती है तो वह इस योजना का लाभ उठा सकती है ।
Uttarakhand Vidhwa Pension Yojana ऑनलाइन आवेदन कैसे करें?
पात्र विधवा महिलाएँ ऊपर बताये गए तरीके से इस योजना फॉर्म को भरकर अपना आवेदन कर सकती हैं।
अंतिम शब्द
आज समाज बेशक बहुत तरक्की कर गया है, लेकिन देश के कई पिछड़े इलाकों में लोगों की सोच और मानसिकता आज भी नहीं बदली है। उस समाज में महिला आज भी विधवा होती है तो इसका दोष उस महिला के सिर पर थोपा जाता है। लोग उसे किसी पुनीत कार्य में शामिल करने से परहेज करते हैं। बहुत जगह ऐसी भी हैं कि घर वालों की प्रताड़ना से परेशान होकर विधवा महिलाओं ने घर छोड़ दिया।
दोस्तों, शायद आपको पता ही होगा कि वृंदावन विधवाओं के शहर के रूप में मशहूर है। करीब 60 हजार की आबादी वाले इस शहर में लगभग 20 हज़ार विधवाएं भगवान का भजन कर अपना जीवन यापन कर रही हैं। वह इसे अपनी मुक्ति का धाम भी मानती हैं।
आपने ईश्वर चंद्र विद्यासागर का नाम भी जरूर सुना होगा। वह ऐसे विख्यात समाज सुधारक हुए हैं, जिन्होंने अपने प्रयासों से विधवा विवाह को मंजूरी दिलाई। इससे पहले उच्च जाति की महिलाओं को पति की मृत्यु हो जाने के बाद दूसरे विवाह की इजाजत नहीं थी। यहां तक कि उन्होंने अपने पुत्र की शादी भी एक विधवा महिला से ही कराई।
साथियों, इस पोस्ट के माध्यम से हमने आपको उत्तराखंड विधवा पेंशन योजना क्या है, इसके आवेदन के लिए आवश्यक पात्रता, दस्तावेज के संबंध में जानकारी दी। उम्मीद है कि यह जानकारी आपके लिए बेहद कारगर साबित होगी। यदि आप किसी अन्य सरकारी योजना के विषय में हम से जानना चाहते हैं तो उसके लिए हमें नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स में कमेंट कर दीजिए। आपकी बात हम तक पहुंच जाएगी। आपकी प्रतिक्रिया और सुझावों का हमें हमेशा की तरह इंतजार है। ।।धन्यवाद।।